बलुई दोमट मिट्टी और पीएच 7.0-7.8 आदर्श है। अधिक नमी वाले क्षेत्रों में इसकी खेती संभव नहीं है।
ड्रिप सिंचाई प्रणाली से पानी का कुशल उपयोग संभव है। पौधों के बीच 6x6 मीटर (सिंचाई वाले क्षेत्र) और 8x10 मीटर (अनसिंचित क्षेत्र) की दूरी जरूरी है।
नियमित छंटाई और उचित उर्वरक प्रबंधन जरूरी है। नर-मादा पेड़ों का अनुपात 1:8 या 1:10 होना चाहिए।
पिस्ता का बाजार मूल्य ऊँचा है और लंबे समय तक उत्पादन के कारण यह लाभदायक है।