अमित शाह ने राष्ट्रीय हल्दी बोर्ड का उद्घाटन कर हल्दी को लेकर की भविष्यवाणी

By: tractorchoice Published on: 01-Jul-2025

अमित शाह ने राष्ट्रीय हल्दी बोर्ड का उद्घाटन करने के दौरान कहा कि अगले 3 सालों में हल्दी के दाम 7,000 रुपए तक बढ़ेंगे – हल्दी किसानों के लिए बड़ी राहत और आर्थिक मजबूती की दिशा में एक नया कदम उठाते हुए। 

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने तेलंगाना के निज़ामाबाद में राष्ट्रीय हल्दी बोर्ड के मुख्यालय का उद्घाटन किया। इस अवसर पर उन्होंने ऐलान किया कि आने वाले तीन वर्षों में हल्दी के दामों में ₹7,000 तक की बढ़ोतरी की संभावनाएं हैं, जिससे किसानों की आय में बड़ी वृद्धि दर्ज होगी। भारतीय हल्दी को वैश्विक बाज़ार में नवीन पहचान मिलेगी।

अपने संबोधन में अमित शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हल्दी किसानों की दशकों पुरानी मांग को पूरा करते हुए हल्दी बोर्ड की स्थापना की है। 

उन्होंने कहा, “निज़ामाबाद और आसपास के जनपद दीर्घकाल से हल्दी उत्पादन के केंद्र रहे हैं। लेकिन उन्हें कभी अंतर्राष्ट्रीय बाजार तक सीधी पहुंच नहीं मिल पाई। अब यह स्थिति बदलेगी।”  

हल्दी को मिलेगा वैश्विक मंच

अमित शाह ने कहा कि राष्ट्रीय हल्दी बोर्ड अब हल्दी की पैकिंग, ब्रांडिंग, मार्केटिंग और निर्यात की पूरी व्यवस्था संभालेगा। इससे किसानों को बिचौलियों से छुटकारा मिलेगा और उत्पादन का अच्छा मूल्य सीधे उनके हाथ में पहुंचेगा। 

उन्होंने कहा कि 2025 में हल्दी का दाम ₹18,000–₹19,000 प्रति क्विंटल रहा और सरकार की कोशिश है, कि अगले तीन वर्षों में यह ₹25,000–₹26,000 प्रति क्विंटल तक पहुंचे।

यह भी पढ़ें: हल्दी की जैविक खेती से जुड़ी कुछ महत्वपूर्ण जानकारी

2030 तक 1 बिलियन डॉलर निर्यात का लक्ष्य

अमित शाह ने बताया कि केंद्र सरकार ने 2030 तक हल्दी का निर्यात 1 बिलियन डॉलर तक पहुंचाने का लक्ष्य तय किया है। इसके लिए अंतरराष्ट्रीय बाज़ार में भारत की हल्दी की औषधीय विशेषताओं का प्रचार, वैश्विक मानकों के अनुसार पैकिंग और किसानों का कौशल विकास प्राथमिकता में है।

तेलंगाना के कई जिले बनेंगे हल्दी हब

अमित शाह ने बताया कि निज़ामाबाद, जग्तियाल, निर्मल और कामारेड्डी जैसे जिले देश के प्रमुख हल्दी उत्पादक क्षेत्र हैं और अब इन्हें वैश्विक व्यापार का केंद्र बनाने की तैयारी है। वर्ष 2023-24 में 3 लाख हेक्टेयर में हल्दी की खेती कर 10.74 लाख टन उत्पादन हुआ है।

बोर्ड किसानों को देगा प्रशिक्षण और तकनीकी सहायता

हल्दी बोर्ड न केवल मार्केटिंग और निर्यात का काम करेगा बल्कि किसानों को फसल कटाई, प्रोसेसिंग, गुणवत्ता मानक और जीआई टैगिंग जैसे विषयों पर प्रशिक्षण भी देगा। इससे एक्सपोर्ट के लिए जरूरी क्वालिटी सुनिश्चित की जा सकेगी।

यह भी पढ़ें: हल्दी का उपयोग, लाभ और नुकसान की जानकारी

अन्य योजनाओं का भी जिक्र

अमित शाह ने यह भी बताया कि सरकार ने किसानों की मदद के लिए नेशनल कोऑपरेटिव एक्सपोर्ट लिमिटेड (NCEL) और नेशनल कोऑपरेटिव ऑर्गेनिक लिमिटेड (NCOL) की भी स्थापना की है, ताकि ऑर्गेनिक हल्दी के उत्पादक किसानों को भी सीधा लाभ मिल सके। इस अवसर पर केन्द्रीय कोयला और खनन मंत्री जी. किशन रेड्डी और केन्द्रीय गृह राज्यमंत्री श्री बंडी संजय कुमार सहित अनेक गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे।

 

प्रश्न : राष्ट्रीय हल्दी बोर्ड क्या होता है ?

उत्तर : राष्ट्रीय हल्दी बोर्ड हल्दी के बारे में जागरुकता और खपत बढ़ाएगा तथा निर्यात बढ़ाने के लिए अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर नए बाजार विकसित करेगा। बोर्ड नए उत्पादों में अनुसंधान और विकास को बढ़ावा देगा, मूल्यवर्धित हल्दी उत्पादों के लिए पारंपरिक ज्ञान को विकसित करेगा।

प्रश्न : राष्ट्रीय हल्दी बोर्ड से किसानों का क्या लाभ होगा ?

उत्तर : राष्ट्रीय हल्दी बोर्ड हल्दी उत्पादकों की आय में वृद्धि। भारत के हल्दी निर्यात को वैश्विक पहचान। किसानों और निर्यातकों के लिए नए व्यापारिक अवसर। भारत की अर्थव्यवस्था में मसालों के योगदान को बढ़ावा।

प्रश्न : हल्दी के अद्भुत लाभ क्या क्या हैं ?

उत्तर : हल्दी वास्तव में सूजनरोधी, एंटीऑक्सीडेंट, एंटीसेप्टिक, पाचन सुधारक और प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत करने में काफी सहयोगी है।

Similar Posts